युद्ध के मुहाने पर खड़े तुर्की और ग्रीस आपस में बातचीत को तैयार

तुर्की और ग्रीस पूर्वी भूमध्यसागर पर चल रहे तनाव को सुलझाने के लिए आपस में बातचीत को तैयार हो गए हैं. तुर्की के विदेश मंत्री ने कहा है कि दोनों देश आपसी विश्वास को बढ़ाने के लिए बातचीत करने पर सहमत हो गए हैं. उल्लेखनीय है कि पिछले कुछ दिनों से दोनों देशों के बीच प्राकृतिक गैस के संसाधनों को लेकर विवाद चल रहा है. उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (NATO) के सहयोगी तुर्की और ग्रीस पिछले दिनों में कई बार आपसी विरोध जता चुके हैं.

इस बीच, तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तैयब अर्दोआन ने जर्मन चांसलर एंजेला मैर्केल से कहा है कि पिछले सप्ताह यूरोपीय संघ के शिखर सम्मेलन में लिए गए फैसले तुर्की और ग्रीस के बीच की समस्याओं को दूर करने के लिए पर्याप्त नहीं थे.

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इससे पहले जुलाई में मैर्केल ने इस विवाद को लेकर तुर्की और ग्रीस के बीच मध्यस्थता की थी. मैर्केल के दखल के बाद तुर्की ने कुछ समय के लिए ड्रिलिंग रोक दी लेकिन इसके बाद ग्रीस ने मिस्र के साथ तेल और गैस के खनन को लेकर एक संधि कर ली.तुर्की ने इस संधि को डाकुओं की संधि करार दिया और 10 अगस्त से ड्रिलिंग फिर शुरू कर दी.

ग्रीस और तुर्की के बीच तनाव कोई नई बात नहीं है. दोनों देशों में भूमध्य सागर इलाके में कब्जे को लेकर पुराने प्रतिद्वंदी हैं. पूर्वी भूमध्यसागरीय में हाइड्रोकार्बन भंडार की खोज के बाद से ग्रीस और तुर्की की ऊर्जा संसाधनों पर अधिकार की लड़ाई और खरतनाक हो गयी है. ग्रीस और यूरोपीय संघ का दावा है कि तुर्की इस क्षेत्र में अवैध रूप से ड्रिलिंग कर रहा है लेकिन तुर्की इसे अपना इलाका बताता रहा है.